"कोविड-19 और दो कहावत"
हल्दी लगे ना फिटकरी, रंग चोखा आए !
जगरा कोई लगाएं, और बाटी निकालकर कोई खाए !!
कोविड-19 महामारी को लेकर राज्य और केंद्र के बीच मैं चल रही तनातनी के बीच दो पुरानी कहावतें जेहन में रेंगती हुई दिखाई दे रही है !
एक हल्दी लगे ना फिटकरी, रंग चोखा आए--- कोविड-19 के प्रथम चरण में देखा गया था जब कोरोना महामारी से लड़ने और जीतने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर देश की जनता ने ताली और थाली बजाई और अपनी बालकनी मैं खड़े होकर टॉर्च और मोमबत्ती जलाई !
कोरोना महामारी के प्रथम चरण में महामारी से निपटने के लिए देश के राज्यों ने अपने स्तर पर प्रबंध किए, और बेहतर प्रबंध के कारण राजस्थान और केरल कोरोना महामारी से निपटने के लिए देश और विदेश में मॉडल बने ! देश में पहली बार जनता ने लंबा लॉकडाउन भी कोविड-19 के प्रथम चरण में देखा !
राज्य सरकारों के बेहतर प्रबंधन और देशव्यापी लंबे लॉकडाउन के कारण कोरोना महामारी के पहले चरण को जीतने में देश कामयाब हुआ, लेकिन इस जीत का जश्न ज्यादा देर तक नहीं चल पाया और देश को कोविड-19 का दूसरा चरण देश में आ धमका जो प्रथम चरण से अधिक घातक सिद्ध हुआ ! कोरोना महामारी के दूसरे दौर में ना तो हल्दी का माई और ना ही फिटकरी काम आई जो काम आने वाली थी ऑक्सीजन दवाइयां अस्पतालों में बेड उसमें कमी नजर आई !
कोविड-19 का दूसरा दौर असल में राज्यों और केंद्र की सत्ता में बैठे नेताओं के लिए असल परीक्षा की घड़ी थी !
मगर, जब ऑक्सीजन दवाइयां और अस्पतालों में बेड के लिए देशभर में आह आकार और अफरा-तफरी मचने लगी तब दिखाई दिया कि हुक्मरानों के पेन की स्याही खत्म हो रही है ?
केंद्र और राज्य अपनी अपनी जिम्मेदारियों का ठीकरा एक दूसरे पर फोड़ने लगे !
केंद्र और राज्यों के बीच विवाद कोरोना महामारी के प्रथम चरण में भी दिखाई दिया था, मगर प्रथम चरण में महामारी नई थी, जिसे राज्य सरकारों के बेहतर प्रबंधन और जनता की जागरूकता और धैर्य ने बीमारी को ज्यादा घातक नहीं होने दिया !
लेकिन दूसरे चरण में महामारी घातक रूप लेकर आई जिसने राज्य और केंद्र की व्यवस्थाओं पर सवालिया निशान लगा दिए !
अब एक बार फिर से राज्य और केंद्र सत्ता और विपक्ष के बीच, विवाद के स्वर सुनाई देने लगे हैं !
ऑक्सीजन वेंटीलेटर वैक्सीन और दवाइयों को लेकर केंद्र और राज्यों के बीच विवाद के स्वर सुनाई देने लगे ! वही पक्ष विपक्ष के बीच राजनीति करने के आरोप सुनाई देने लगे !
राज्य और केंद्र, के बीच उठ रहे विवाद के बीच एक विवाद वैक्सीन सर्टिफिकेट पर फोटो का भी उठा वैक्सिंग के सर्टिफिकेट पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का फोटो छपा था, छत्तीसगढ़ और पंजाब ने मोदी का फोटो हटा दिया !
शायद यह इसलिए किया क्योंकि, "जगरा लगाए कोई और, बाटी निकाल खाए कोई ! क्योंकि अब वैक्सीन राज्य सरकारें ही खरीद कर अपने राज्य की जनता को लगाएंगे !
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देवेंद्र यादव वरिष्ठ पत्रकार |
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